Updated on: 12 May, 2025 10:28 AM IST | Mumbai
Rajendra B Aklekar
महाराष्ट्र सरकार ने रविवार को सभी सीमा चौकियों को स्थायी रूप से बंद करने की घोषणा की, जिससे ट्रांसपोर्ट उद्योग में खुशी का माहौल है.
Representation pic/istock
महाराष्ट्र परिवहन मंत्रालय ने रविवार को औपचारिक रूप से सभी सीमा चौकियों को स्थायी रूप से बंद करने की घोषणा की, तथा अनुमोदन के लिए राज्य सरकार को सकारात्मक रिपोर्ट प्रस्तुत की. भ्रष्टाचार से जुड़े चेक पोस्टों के कुख्यात संबंधों के कारण ट्रांसपोर्टरों द्वारा लंबे समय से की जा रही इस मांग का पूरे उद्योग जगत ने व्यापक रूप से स्वागत किया.
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महाराष्ट्र के परिवहन मंत्री प्रताप सरनाईक ने कहा, "केंद्र सरकार के निर्देशों तथा वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी) के कार्यान्वयन के अनुरूप, महाराष्ट्र सरकार ने राज्य में सभी मोटर परिवहन सीमा चौकियों (आरटीओ सीमा चौकियों) को स्थायी रूप से बंद करने का निर्णय लिया है." "इस कदम का उद्देश्य अंतरराज्यीय यातायात को आसान बनाना तथा वाणिज्यिक वाहनों के लिए बाधाओं को दूर करना है."
सरनाईक ने बताया कि 1966 में पहली बार स्थापित की गई इन चौकियों का मूल उद्देश्य वाहनों की आवाजाही को विनियमित करना, परिवहन कानूनों को लागू करना तथा सड़क कर एकत्र करना था. उन्होंने कहा, "हालांकि, जीएसटी के लागू होने तथा डिजिटल प्रणालियों में प्रगति के साथ, इन भौतिक निरीक्षण बिंदुओं की आवश्यकता काफी कम हो गई है." केंद्रीय सड़क परिवहन मंत्री नितिन गडकरी ने राज्य के परिवहन विभाग को इस पर ध्यान देने का निर्देश दिया था. प्रशासनिक खामियों को दूर करने के बाद अब मुख्यमंत्री को सकारात्मक रिपोर्ट सौंपी गई है. उनकी मंजूरी के बाद राज्य की सीमाओं पर स्थित चेक पोस्ट स्थायी रूप से बंद कर दिए जाएंगे. हालांकि, नियमित पुलिस चेक पोस्ट काम करना जारी रखेंगे.
ऑल इंडिया मोटर ट्रांसपोर्ट कांग्रेस के सलाहकार और पूर्व अध्यक्ष बाल मलकीत सिंह ने मिड-डे से बात करते हुए कहा, "हम महाराष्ट्र सरकार के इस लंबे समय से प्रतीक्षित और बहुत जरूरी फैसले का स्वागत करते हैं. यह हमारे लगातार फॉलो-अप, कई बार प्रतिनिधित्व और हर स्तर पर प्रयासों का नतीजा है." उन्होंने कहा, "आरटीओ सीमा चेक पोस्टों को स्थायी रूप से बंद करने से सड़क परिवहन क्षेत्र को काफी फायदा होगा, भ्रष्टाचार और देरी कम होगी और महाराष्ट्र डिजिटल, निर्बाध परिवहन संचालन के प्रगतिशील दृष्टिकोण के साथ जुड़ जाएगा. हम सरकार की कार्रवाई की सराहना करते हैं और अब मुख्यमंत्री की औपचारिक घोषणा का इंतजार कर रहे हैं." इसे एक ऐतिहासिक कदम बताते हुए सिंह ने कहा कि यह निर्णय परिवहन यूनियनों, हितधारकों और केंद्र सरकार द्वारा बार-बार की गई अपील का जवाब है. उन्होंने कहा, "इसका उद्देश्य अंतरराज्यीय परिवहन में बाधाओं को दूर करना, सड़क सुरक्षा में सुधार करना और `व्यापार करने में आसानी` ढांचे को ध्यान में रखते हुए कागज रहित, तकनीक-संचालित निगरानी प्रणाली को लागू करना है."
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